Betul Samachar: (बैतूल)। पूरे प्रदेश के तहसीलदार-नायब तहसीलदार सोमवार से तीन दिन की सामूहिक अवकाश पर चले गए हैं। राजस्व अधिकारियों के हड़ताल पर जाने से शासकीय काम बुरी तरह प्रभावित हो रहा है। इस समय ओलावृष्टि से अधिकांश जगह फसलें प्रभावित हुई है। सरकार ने राजस्व अमले से खराब हुई फसलों का सर्वे करने के निर्देश दिए है, इस बीच तहसीलदार और नायब तहसीलदारों की हड़ताल से सर्वे का काम बुरी तरह प्रभावित हो गया है। यह स्थिति पूरे तीन दिन बनी रहेगी। तहसीलदार संघ द्वारा बैतूल जिले में भी कलेक्टर से मुलाकात कर अपनी मांगों को लेकर 16 मार्च को जानकारी दी जा चुकी हैं। हड़ताल से जिले के सभी ब्लॉकों में तहसील कार्यालय पहुंचे कई जरूरतमंद लोगों को भी बुरी तरह परेशानी का सामना करना पड़ा हैं। हाला कि प्रदेश व्यापी हड़ताल से ना सिर्फ बैतूल बल्कि प्रदेश के अधिकांश जिले में तहसील कार्यालयों का काम बेपटरी होने की खबर हैं। अपनी विभिन्न मांगों को लेकर हड़ताल पर गए तहसीलदार सरकार से काफी नाराज बताए जा रहे है।
उन्होंने हड़ताल पर जाने के पहले बनाए गए वाटसऐप ग्रुप को छोडऩे के साथ शासकीय वाहन की सुविधाएं भी त्याग दी है। सोमवार से गुरूवार तक चलने वाली सामूहिक हड़ताल को लेकर तर्क सामने आ रहा हैं कि तहसीलदारों ने अपनी मांगों को लेकर वर्षों से आग्रह किया है, लेकिन कोई अमल न होने के बाद तीन दिन तक हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया। तहसीलदार प्रभात मिश्रा ने बताया कि तहसीलदारों की मांगों पर वर्षों से अमल नहीं किया जा रहा है। सरकार सभी वर्ग को संतुष्ट करने में जुटी हैं, चूंकि राजस्व अमला भी एक महत्वपूर्ण अंग है, उनकी जायज मांगों को भी पूरा किया जा सकता हैं। वर्षों से मांगें पूरी नहीं करने के कारण पूरे प्रदेश में तहसीलदार-नायब तहसीलदारों ने हड़ताल पर जाने का निर्णय लिया है।
उन्होंने बताया कि 16 मार्च को कलेक्टर अमनबीर सिंह बैंस से मिलकर अपनी मांगों को लेकर तीन दिन की अवकाश पर जाने की सूचना दे दी गई थीं। तहसीलदारों के हड़ताल पर जाने से सबसे अधिक परेशानी ओलावृष्टि के सर्वे का कार्य प्रभावित हुआ है। जिले के अधिकांश ब्लॉकों में पिछले तीन दिनों से ओलावृष्टि और बारिश से गेहूं और चने की फसलों को व्यापक नुकसान हुआ है। सोमवार से दो दिन की छुट्टी के बाद सर्वे के काम में तेजी आनी थी, लेकिन तहसीलदारों की हड़ताल से ये काम प्रभावित होने से इंकार नहीं किया जा सकता। इसके अलावा ह्यअन्य कार्यों के लिए तहसील ऑफिस पहुंचे कई लोगों को भी वापस लौटना पड़ा हैं।